PM Modi leader of NDA: लोकसभा चुनाव के नतीजे आने के अगले दिन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु (President Draupadi Murmu) ने केंद्रीय मंत्रिमंडल की सिफारिश पर सत्रहवीं लोकसभा भंग कर दी। इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने राष्ट्रपति से मुलाकात की और उन्हें अपना व अपने मंत्रिमंडल का इस्तीफा सौंप दिया। राष्ट्रपति ने मोदी को नई सरकार के गठन तक कार्यभार संभालने का अनुरोध किया है। इसी के साथ नई सरकार बनाने की कवायद भी तेज हो गई है। एनडीए के 15 घटक दलों ने बुधवार को प्रधानमंत्री आवास पर बैठक कर मोदी को गठबंधन का नेता चुना और उनके नेतृत्व में एनडीए सरकार को समर्थन का पत्र सौंपा। अब सात जून को भाजपा और एनडीए के नवनिर्वाचित सांसदों की बैठक में मोदी को एनडीए संसदीय दल का नेता चुना जाएगा और उसी शाम राष्ट्रपति से मिल कर सरकार के गठन का दावा किया जाएगा। कहा जा रहा है कि मोदी आठ जून की शाम को शपथ ले सकते हैं।
INDIA समूह के दलों ने भी बुधवार को कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के निवास पर बैठक कर आगे की रणनीति पर विचार किया। खरगे ने यह कहकर नई सरकार के लिए रास्ता साफ कर दिया कि इंडिया समूह फिलहाल सरकार बनाने की कोशिश नहीं करेगा। इस बार भाजपा के बहुमत से 32 सीट दूर रह जाने के कारण संभावित नई एनडीए सरकार में शामिल होने वाले प्रमुख दलों ने दबाव की राजनीति शुरू कर दी है। सूत्रों के अनुसार, नीतीश और चंद्रबाबू ने मंत्रियों की संख्या और लोकसभा अध्यक्ष के लिए बात आगे बढ़ाई है। आंध्र और बिहार को विशेष दर्जा देने की मांग तो पहले से ही है। कहा जा रहा है कि नीतीश ने ग्रामीण विकास, जलशक्ति और रेल मंत्रालय मांगा है।
सत्रहवीं लोकसभा का कार्यकाल 16 जून को समाप्त होना था। अठारहवीं लोकसभा के चुनाव एक जून को संपन्न हुए थे और चार जून को हुई मतगणना में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) को सरकार बनाने का जनादेश मिला है।
राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) के सभी सदस्यों ने गठबंधन नेता के रूप में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी को अपना समर्थन दिया है। यह घटनाक्रम अगली सरकार के गठन पर चर्चा के लिए लोकसभा चुनाव नतीजों के एक दिन बाद 7, लोक कल्याण मार्ग स्थित प्रधान मंत्री के आवास पर हुई एनडीए की एक महत्वपूर्ण बैठक के बाद आया है। प्रधानमंत्री आवास पर एनडीए सहयोगियों की बैठक में बिहार के सीएम और जेडीयू प्रमुख नीतीश कुमार, तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) के चंद्रबाबू नायडू, लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) के चिराग पासवान, राष्ट्रीय लोक दल (आरएलडी) के जयंत चौधरी, एचडी कुमारस्वामी, जीतन राम मांझी, अनुप्रिया पटेल, एकनाथ शिंदे के अलावा भाजपा के शीर्ष नेतृत्व में अमित शाह, राजनाथ सिंह, जेपी नड्डा और अन्य शामिल हैं।
सूत्रों ने बताया कि 7 जून को एनडीए सांसदों के साथ बैठक के बाद एनडीए के सहयोगी दल राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मिलेंगे। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा मिलकर सहयोगी दलों के साथ सरकार गठन पर चर्चा करेंगे। जदयू सांसद संजय कुमार झा ने कहा कि पीएम आवास पर एनडीए की बैठक हुई, जिसमें सीएम (नीतीश कुमार) भी शामिल हुए। सभी ने अपने विचार रखे और एनडीए को तीसरी बार मिले जनादेश के लिए जनता को धन्यवाद दिया। जल्द ही नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार बनेगी और जल्द ही सभी सांसदों की बैठक होगी।
एनडीए की बैठक में जो प्रस्ताव पास किया गया है उसमें कहा गया है कि भारत के 140 करोड़ देशवासियों ने पिछले 10 वर्षों में आदरणीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एनडीए सरकार की जनकल्याणकारी नीतियों से देश को हर क्षेत्र में विकसित होते देखा है। बहुत लंबे अंतराल, लगभग 6 दशक के बाद भारत की जनता ने लगातार तीसरी बार पूर्ण बहुमत से सशक्त नेतृत्व को चुना है। इसमें कहा गया कि हम सभी को गर्व है कि 2024 का लोकसभा चुनाव एनडीए ने आदरणीय श्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में एकजुटता से लड़ा और जीता। हम सभी एनडीए के नेता आदरणीय नरेंद्र मोदी जी को सर्वसम्मति से अपना नेता चुनते हैं।
पीएम मोदी ने जीत को बताया ऐतिहासिक
वहीं, प्रधानमंत्री ने बताया कि किस तरह से 1962 के बाद पहली बार किसी सरकार को लगातार तीसरी बार मिली जीत ऐतिहासिक है और सरकार के पिछले 10 सालों के कार्यों पर जनता के भरोसे को दिखाता है। बैठक के दौरान नेताओं के बैठने के क्रम से राजग में उनके अहमियत का भी संकेत मिला है।
बैठक में भी दिखा चुनावी नंबर का खेल
प्रधानमंत्री के बायीं तरफ 16 सीटें जीतने वाली टीडीपी के चंद्रबाबू नायडू और उसके बाद 12 सीटें जीतने वाली जदयू के नीतीश कुमार बैठे हैं। नीतीश कुमार के बगल में सात सीटें जीतने वाले शिवसेना के प्रमुख एकनाथ शिंदे बैठे थे। प्रधानमंत्री के दायी तरफ 240 सीटों वाले राजग के सबसे बड़े सहयोगी भाजपा के अध्यक्ष जेपी नड्डा, उनके बगल में राजनाथ सिंह और अमित शाह बैठे थे।
बैठक में चिराग सहित कई नेता हुए शामिल
अमित शाह के बगल में पांच सीटें जीतने वाली लोजपा के चिराग पासवान, उनके बगल में दो सीट जीतने वाले जेडीएस के कुमारस्वामी और दो ही सीट जीतने वाली रालोद के प्रमुख जयंत चौधरी बैठे दिखे। एक-एक सीट जीतने वाले सहयोगी दलों के नेताओं को उनके बाद जगह मिली। माना जा रहा है कि जल्द ही प्रधानमंत्री मोदी के नए मंत्रिमंडल में सहयोगी दलों की भागीदारी के फार्मूले को अंतिम रूप दे दिया जाएगा।